हँसुली गीत बयां करता है विरह

देहरादून। उत्तराखंड की फेमस जागर गायिका हेमा नेगी करासी ऑफिसियल चैनल एचएनके फ़िल्म ब्रैंड की ओर से हँसुली गीत का विमोचन किया गया। जागर गायिका हेमा नेगी करासी की आवाज में प्रस्तुत इस गीत के माध्यम से एक अकेली औरत की विरह और उसका सहारा बनी बेटी को दिखाया गया है, लेकिन पहले ही अपने पति को खो चुकी पहाड़ की इस महिला पर आफत तब टूट पड़ती है जब उसकी बेटी भी पानी में बह जाती है और वो अकेली रह जाती है।
हँसुली एलबम का विमोचन डालनवाला स्थित संस्कृति विभाग के निदेशालय में डायरेक्टर वीना भट्ट ने किया। वीना ने कहा कि पहाड़ की औरतों का जीवन वाकई में पहाड़ जैसी कठिनाईयों से भरा होता है, ऐसे में यदि वो बिल्कुल अकेली हो जाए तो उनका दर्द क्या होगा, समझा जा सकता है। उन्होंने कहा कि सिंगर हेमा नेगी हर बार ही कुछ अलग लेकर आती हैं , जो हमारी संस्कृति को बेहतर तरीके से झलकाता है। एक्टर बलराज नेगी ने हँसुली गीत की सराहना की। सिंगर हेमा नेगी ने बताया कि इस एल्बम में काम करने वाली मा और बेटी दोनों ने ही पहली बार एक्टिंग की है। कहा कि जल्दी हँसुली पार्ट 2 भी लाया जाएगा।
बताया कि माँ का किरदार नलिनी गुंसाई और बेटी का साक्षी करासी ने किया है। थर्ड बटन स्टूडियो की ओर से इस एल्बम का फिल्मांकन किया गया है। हेमा ने कहा कि कोरोना महामारी में जितने भी योद्धाओं, डाक्टर ,नर्स ,पुलिस कर्मी,सफ़ाईकर्मी,आर्मी जवानों ने अपनी जान की बाज़ी लगाई , उन सभी को ये गीत समर्पित है।

हँसुली एक विरह गीत
हँसुली एक विरह गीत है, जो बहुत ही मार्मिक गीत है. इसमे माँ बेटी के मर जाने पर दुखी होकर उसके वियोग मैं गाती है। पति के मृत्यु के बाद हंसुली की माँ का जीने का सहारा सिर्फ़ हंसुली थी, जो स्कूल जाते वक़्त बारिश के कारण पुल टूटकर गदेरे में बह कर मर जाती है। उसकी यह वेदना एक माँ से सही नहीं जाती तो वो अपने शब्दों के माध्यम से बता रही की मैंने तुझे मना कर दिया था कि तू मत जा इस बारिश में स्कूल पर ,तूने मेरी (अड़ाई) कही बात बिल्कुल नहीं मानी और मुझे ऐसे बेसहारा छोडकर चली गई।

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