-सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद प्रशासन और पुलिस ने की कार्यवाही
देहरादून। कॉलेज में एमबीबीएस की जरूरी सुविधाएं और मानक पूरे न होने के बाद उच्चतम न्यायालय ने दून के प्रेमनगर स्थित सुभारती मेडिकल कॉलेज को सील करने के आदेश देते हुए उसके संचालन का जिम्मा राज्य सरकार को सौंप दिया है। उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद जिला प्रशासन और पुलिस की टीम देर रात तक कॉलेज को सील करने की कार्यवाही कर रही थी। मौके पर भारी संख्या में
पीएससी तैनात की गई है। किसी भी बाहरी शख्स का कॉलेज में प्रवेश नहीं करने दिया जा रहा है, जबकि यहां से कोई भी सामान बाहर ले जाने की अनुमति नहीं है। दरअसल कॉलेज के एमबीबीएस के छात्रों ने ही सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। छात्रों का आरोप था कि कॉलेज प्रशासन के पास एमबीबीएस कोर्स से जुड़ी जरूरी और मूलभूत सुविधाएं भी नहीं हैं। कई बार शिकायत के बाद इन जरूरी सुविधाआें को मुहैया नहीं करवाया जा रहा है और न ही कॉलेज इसे पूरा करने में दिलचस्पी दिखा रहा है। जरूरी सुविधाओं के अभाव के बाद भी डेढ़
सौ से ज्यादा विद्यार्थियों को प्रवेश दे दिया गया है और उनकी परीक्षा तक नहीं करवाई जा रही है। जिससे एमबीबीएस के छात्रों का भविष्य अधर में अटक गया है। छात्रों की याचिका पर कोर्ट ने माना कि छात्रों का भविष्य अहम है और कॉलेज प्रशासन उनके भविष्य से खिलवाड़ कर रहा है। जिसके बाद कोर्ट ने आदेश दिए कि सुभारती मेडिकल कॉलेज को सील कर राज्य सरकार उसके संचालन का जिम्मा अपने हाथ में ले या सुभारती के एमबीबीएस के छात्रो की शिक्षा की कहीं अन्यत्र व्यवस्था करे। कोर्ट के आदेश के बाद बृहस्पतिवार की शाम
एसडीएम विकासनगर जितेंद्र कुमार, सीआे सिटी चंद्रमोहन नेगी और प्रेमनगर थानाध्यक्ष दिलबर सिंह (पुलिस टीम) समेत दून अस्पताल के चिकित्सकों की टीम ने सुभारती मेडिकल कॉलेज पहुंचकर दस्तावेज खंगालने के साथ ही उसके सील करने की कार्यवाही शुरू की। देर शाम तक कॉलेज का अकाऊन्ट डिपार्टमेंट सील कर दिया गया था। दून अस्पताल की टीम अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या देख रही थी। थानाध्यक्ष प्रेमनगर दिलबर सिंह नेगी ने बताया कि मौके पर पीएसी को तैनात किया गया है।