चुनावी रंजिश में मझोला के एक घर में घुसकर करीब 12 दबंगों ने एक परिवार को जमकर पीटा। पीड़ित पुलिस चौकी पहुंचा तो वहां भी उसके साथ मारपीट की गई। दबंगों ने पुलिस की मौजूदगी में तमंचे से फायर झोंक दिए। इससे ग्रामीणों का आक्रोश फूट पड़ा। उन्होंने पुलिस पर दबंगों को शह देने का आरोप लगाते हुए खटीमा-पीलीभीत मार्ग पर साढ़े चार घंटे तक जाम लगा दिया। पुलिस ने जाम लगाने वालों को बलपूर्वक हटाया। इस बीच मौके पर पहुंचे भाकियू नेता राकेश टिकैत ने पुलिस अफसरों से बात कर कार्रवाई की मांग की।
चौकी प्रभारी सत्रहमील को सौंपी नामजद तहरीर में मझोला ग्राम निवासी हरप्रीत सिंह ने कहा कि मतदान से एक दिन पहले 13 फरवरी को एक राजनीतिक दल के करीब 12 कार्यकर्ता वनगवां गांव पहुंचे। चुनाव प्रभावित करने के उद्देश्य से वे शराब, नकदी आदि बांटने लगे। इसका विरोध करने पर भी वे नहीं माने। इनकी वीडियोग्राफी करने पर सभी लोग चुनाव बाद देख लेने की धमकी देते हुए चले गए।
हरप्रीत ने बताया कि आरोपियों ने मंगलवार को फोन कर दोपहर 12 बजे उसे पास के एक पेट्रोल पंप पर पहुंचने को कहा। उसके न जाने पर वे उसके घर आ धमके और परिजनों के साथ मारपीट करने लगे। आरोप है कि हमलावरों ने हरप्रीत के गूंगे भाई नवजीत सिंह, बहन गुललीन कौर, पिता सर्वजीत सिंह, माता दलवीर कौर की पिटाई कर दी। हरप्रीत जान बचाने के लिए भागकर पुलिस चौकी पहुंचा तो दबंग वहीं पहुंच गए और पुलिस की मौजूदगी में उसके साथ मारपीट की। हरप्रीत का आरोप है कि इस दौरान तमंचे से तीन राउंड फायर किए गए जिसमें वह बाल-बाल बच गया। एक छर्रा उसकी जांघ में लगा। आरोप लगाया कि पुलिस मारपीट की वीडियो बनाने तक ही सीमित रही। बाद में पुलिस ने उन्हें पकड़ने के बजाय मौके से खदेड़ दिया। दबंगों की करतूत से ग्रामीणों का आक्रोश फूट पड़ा। उन्होंने राजनैतिक दलों और भारतीय किसान यूनियन के पदाधिकारियों के साथ डेढ़ बजे चौकी पर प्रदर्शन करते हुए खटीमा-पीलीभीत मार्ग जाम कर दिया।