नई दिल्ली। पूरे उत्तर भारत में जानलेवा ठंड का कहर जारी है। जिस तरह से पाला बरस रहा है, उससे कड़कड़ाती ठंड से राहत मिलने के हाल में कोई आसार नजर नहीं आ रहे। लोगों का घरों से निकलना मुश्किल हो गया है, रैन बसेरों में लोग भरे पड़े हैं। शीतलहर का प्रकोप अब लोगों की जान पर बन आया है। घना कोहरा हादसों को न्योता दे रहा है, तो कटीली हवाओं ने लोगों के हाथ-पैरों को मानों जाम कर दिया हो। शनिवार सुबह भी राजधानी दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में घना कोहरा छाया रहा। शीतलहर लोगों की परेशानी का सबब बनी हुई है। दिल्ली-एनसीआर में आज सुबह 6 डिग्री पारा दर्ज किया गया। ठंड और कोहरे का असर यातायात पर भी पड़ रहा है। विजिबिलिटी कम होने के कारण दिल्ली आने वाली 49 ट्रेनें देरी से आ रही हैं, 13 ट्रेनों को पुनर्निर्धारित किया गया जबकि 18 ट्रेनों को रद करना पड़ा। उत्तर प्रदेश में ठंड से प्रभावित मरीजों की भी संख्या बढ़ती दिखी है। सर्दी के प्रकोप ने 70 लोगों की जान ले ली। जबकि कोहरे से हुए सड़क हादसों में चार लोगों की मौत हो गई, वहीं कई घायल भी हुए। ठंड की वजह से मुजफ्फरनगर और शामली जिलों में आज चार लोगों के मरने की खबर है। वहीं, मुजफ्फरनगर में आज पारा 3.4 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया जबकि सुल्तानपुर और फुरसतगंज में न्यूनतम तापमान 2.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। पिछले एक हफ्ते से जारी जमा देने वाली ठंड से परेशान लोग सूरज निकलने की उम्मीद लगाए बैठे हैं। पड़ाहों पर बर्फबारी ने मैदानी इलाकों में ठंड और बढ़ा रखी है। हालांकि इस बीच मौसम विभाग से थोड़ी राहत की खबर जरूर मिली। मौसम विभाग के अनुसार अगरे 48 घंटे में मैदानी इलाकों में सर्द दिन और शीतलहर के प्रकोप से राहत मिलेगी।