देहरादून। गुलरघाटी में घायल हालत में घूम रहे गुलदार की जू ले जाते समय रास्ते में मौत हो गई। वन विभाग की टीम ने गुलदार की मौत का कारण जानने के लिए उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। वन विभाग के रेस्क्यू से पहले ग्रामीणों ने अपनी जान की परवाह किए बिना गुलदार को पानी पिलाकर उसकी जान बचाने की कोशिश की थी। जानकारी के मुताबिक सुबह करीब सात बजे गुलरघाटी में नदी के आसपास कुछ मजदूर काम कर रहे थे। इसी दौरान उन्हें पास में ही एक गुलदार दिखाई दिया। उन्होंने तुंरत आसपास के लोगों को इसकी जानकारी दी। गुलदार दिखाई देने की सूचना पर आसपास के ग्रामीण मौके पर एकत्रित हो गए और गुलदार को भगाने की कोशिश करने लग गए, लेकिन गुलदार घायल स्थिति में इधर से उधर मंडराता रहा। ग्रामीणों के काफी हो-हल्ला करने के बाद भी जब गुलदार वहां से नहीं भागा तो ग्रामीण समझ गए कि गुलदार घायल है। इसके बाद हिम्मत जुटाकर बालावाला निवासी प्रशांत खरोला सहित कुछ ग्रामीण गुलदार के पास पहुंचे और बाल्टियों से उसके ऊपर पानी डाला और उसे पानी पिलाया। इसके बाद ग्रामीणों ने वन विभाग को सूचित कर दिया। सूचना पर मौके पर पहुंची वन विभाग की टीम ने जाल फेंककर गुलदार को पकड़ लिया और उसे मालसी जू ले जाने लगे। इससे पहले की विभाग के डॉक्टर उसे जू पहुंचाते और उसका इलाज शुरू करते गुलदार ने दम तोड़ दिया। प्रभागीय वनाधिकारी राजीव धीमान ने बताया कि गुलदार काफी दिनों से बीमार लग रहा था। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही गुलदार की मौत के कारणों का पता चल सकेगा।