देहरादून। राजधानी देहरादून समेत प्रदेश के सात जिलों में अगले 24 घंटों के दौरान भारी से भारी बारिश हो सकती है। इसके मद्देनजर मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया है। राज्य आपातकालीन आपदा परिचालन केंद्र ने सभी जिलाधिकारियों को अतिरिक्त सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं।
मौसम विभाग की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार मंगलवार को प्रदेश के ज्यादातर क्षेत्रों में बादल छाये रहेंगे। साथ ही अगले 24 घंटों के दौरान राजधानी देहरादून के साथ ही पिथौरागढ़, नैनीताल, चमोली, रुद्रप्रयाग, टिहरी और पौड़ी में भारी से बहुत भारी बारिश हो सकती है। मौसम केंद्र निदेशक बिक्रम सिंह ने बताया कि मानसून कुमाऊं मंडल के ज्यादातर हिस्सों में पहुंच गया है। वहीं, भारी से बहुत भारी बारिश की आशंका को देखते हुए राज्य आपातकालीन आपदा परिचालन केंद्र ने सभी जिलाधिकारियों को अतिरिक्त सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं। असामान्य मौसम या बहुत अधिक बारिश होने पर उच्च हिमालयी क्षेत्रों में पर्यटकों की आवाजाही रोकने के भी निर्देश दिए गए हैं।
मौसम विभाग द्वारा अगले 48 घंटों में भारी बारिश की चेतावनी को लेकर रुद्रप्रयाग और चमोली जिले का प्रशासन अलर्ट हो गया है। रुद्रप्रयाग में एसडीआरएफ को सतर्क रहने को कहा गया है। हेमकुंड यात्रा में खास सतर्कता बरतने को कहा गया है। गोविंदघाट गुरुद्वारा प्रबंधन ने तीर्थयात्रियों से कहा है कि मौसम का मिजाज बिगड़ रहा है, लिहाजा वे दोपहर दो बजे बाद गोविंदघाट और घांघरिया से हेमकुंड साहिब की यात्रा पर न जाएं। रुद्रप्रयाग के जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने बताया कि मंगलवार देर शाम को शासन से मिले निर्देशों के तहत रुद्रप्रयाग से केदारनाथ तक अलर्ट किया गया है। राजमार्ग समेत यात्रा पैदल मार्ग और केदारनाथ तक आपदा प्रबंध तंत्र को जरूरी आदेश दिए गए हैं, साथ ही एसडीआरएफ को भी सक्रिय रहने को कहा गया है। जिलाधिकारी ने यह भी स्पष्ट किया कि यात्रा पूर्ववत चलती रहेगी, लेकिन मौसम खराब होेने की स्थिति में यात्रा के संचालन के संबंध में भी निर्णय लिया जा सकता है।
बदरीनाथ धाम, हेमकुंड साहिब में बारिश
चमोली जिले में जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया ने आपदा प्रबंधन विभाग के साथ ही समस्त विभागाध्यक्षों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं। इधर, मंगलवार शाम बदरीनाथ धाम, हेमकुंड साहिब सहित जिले के निचले क्षेत्रों में झमाझम बारिश हुई। इससे बदरीनाथ धाम व हेमकुंड साहिब में ठंड बढ़ गई है। गोविंदघाट गुरुद्वारा प्रबंधन ने हेमकुंड साहिब के पैदल मार्ग पर अभी भी हिमखंड जमे होने से तीर्थयात्रियों को समूह में तीर्थयात्रा पर जाने की सलाह दी है।