भाजपा की नैया कांग्रेस के बागी पार लगा पाएंगे ?

देहरादून। उत्तराखंड के चुनावी समर में कहा जा रहा है कि इस बार कांग्रेस का कांग्रेस से ही मुकाबला होने जा रहा है। कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल हुए 14 बागियों के भरोसे भाजपा सत्ता हासिल करने का सपना देख रही है। ऐसे में बड़ा सवाल यही है कि क्या सीएम के चेहरे के बिना चुनावी समर में उतरी भाजपा की नैया कांग्रेस के बागी पार लगा पाएंगे। बीजेपी के पास एक नहीं, दो नहीं चार पूर्व मुख्यमंत्री होने के बावजूद पार्टी उत्तराखंड के चुनावी दंगल में सीएम का चेहरा तक नहीं दे पा है। उत्तराखंड में भाजपा की नैया कांग्रेस के 14 बागियों के भरोसे है। भीतरघात के डर से भाजपा ने किसी पूर्व सीएम को टिकट तक नहीं दिया। उत्तराखंड का चुनावी दंगल अपने अहम पड़ाव पर पहुंच चुका है। प्रदेश में नामांकन का दौर समाप्त हो चुका है। 15 फरवरी को मतदान होना है। चुनाव प्रचार के लिए एक-एक दिन अहम होता जा रहा है। कांग्रेस का सीएम चेहरा सभी के सामने है। अगर कांग्रेस की सरकार बनती है तो हरीश रावत ही मुख्यमंत्री होंगे, लेकिन अगर भाजपा बहुमत में आती है तो सीएम कौन होगा? इस सवाल का भाजपा के पास फिलहाल कोई जवाब नहीं है। सूबे की कमान संभालने चुके सभी पूर्व मुख्यमंत्री इस वक्त भाजपा खेमे में हैं। उत्तराखंड की सियासत में इस वक्त एक बेहद दिलचस्प नजारा देखने को मिल रहा है। पूर्व मुख्यमंत्री, भगत सिंह कोश्यारी, बीसी खंडूडी, रमेश पोखरियाल निशंक, विजय बहुगुणा के अलावा अब एनडी तिवारी भी भाजपा के साथ खड़े दिखाई दे रहे हैं। भगत सिंह कोश्यारी राज्य गठन के बाद गठित हुई बीजेपी की अंतरिम सरकार के दूसरे मुखिया बने थे। दूसरी विधानसभा के कार्यकाल में मेजर जनरल रहे बीसी खंडूरी और रमेश पोखरियाल निशंक मुख्यमंत्री बने। कांग्रेस छोडकर पूर्व सीएम विजय बहुगुणा तो पहले ही कमल का दामन थाम चुके हैं। अब उत्तर प्रदेश एवं उत्तराखंड दोनों राज्यों के मुख्यमंत्री रह चुके नारायण दत्त तिवारी भी बीजेपी खेमे में खड़े दिखाई दे रहे हैं। कोटद्वार से डॉ. हरक सिंह रावत, चौबटघ्टाखाल से सतपाल महाराज, केदारनाथ से शैला रानी रावत, यमुनोत्री से केदार सिंह रावत, नरेंद्रनगर से सुबोध उनियाल, खानपुर से कुंवर प्रणव चौंपियन, रूडकी से प्रदीप बत्रा, भगवानपुर से सुबोध राकेश, रायपुर से उमेश शर्मा काऊ, जसपुर से डा शैलेंद्र मोहन सिंघल, सितारगंज से सौरभ बहुगुणा, बाजपुर से यशपाल आर्या, नैनीताल से संजीव आर्य, सोमेश्वर से रेखा आर्य चुनाव मैदान में हैं। उत्तराखंड में विधानसभा की 70 सीटें हैं। सरकार बनाने के लिए जादूई आंकड़ा 36 है। भाजपा ने कांग्रेस से आए 14 बागियों को जिताऊ मानकर मैदान में उतारा है। अगर भाजपा जीतती है तो भी सीएम पद बाहरी व्यक्ति को ही मिलने की उम्मीद है।

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